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उत्तरकाशी आपदा : गंगोत्री-हर्षिल क्षेत्र में युद्धस्तर पर रेस्क्यू ऑपरेशन जारी, 100 से अधिक लोगों को बचाया गया

Aug 6, 2025

उत्तरकाशी, उत्तराखंड के धराली में प्राकृतिक आपदा के बाद राहत और बचाव अभियान युद्धस्तर पर चलाया जा रहा है। भारत तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) के डीआईजी (ऑपरेशन) बरिंदरजीत सिंह ने बताया कि आईटीबीपी की पांच टीम को मौके पर भेजा गया था, जिनमें से फिलहाल तीन टीम रेस्क्यू ऑपरेशन का हिस्सा हैं। हर्षिल और गंगोत्री एरिया में टीम राहत और बचाव कार्य में लगी हैं। आईएएनएस से बातचीत में डीआईजी बरिंदरजीत सिंह ने कहा कि रात में अभियान के दौरान करीब 110 लोगों को बचाया गया, जिनमें पर्यटकों के साथ स्थानीय लोग शामिल हैं। इनमें से कुछ को गंगोत्री धाम की ओर भेजा गया, जबकि घायल लोगों को प्राथमिक उपचार देने के बाद आईटीबीपी की पोस्ट पर लाया गया। उन्होंने बताया कि बुधवार सुबह, युद्धस्तर पर अभियान को शुरू किया गया। हर्षिल में एयर रेस्क्यू भी शुरू हो चुका है। तकरीबन पांच घायलों को बचाकर लाया गया है। दूसरी तरफ फंसे लोगों को बचाने के लिए अस्थायी पुल बनाए जा रहे हैं। कुछ बॉर्डर एरिया से लाई गईं बीआरओ की मशीनें यहां लगाई गई हैं। कुछ लोग पहाड़ी पर बचने के लिए चले गए थे, उनको भी रेस्क्यू किया जा रहा है। डीआईजी ने बताया कि करीब 7 लोग लापता हैं। 4 लोगों की मौत की पुष्टि हुई है, जिनमें एक व्यक्ति का शव बुधवार सुबह बरामद हुआ। उन्होंने बताया कि मौसम का पूर्वानुमान होता है, लेकिन किस तरह का असर होगा, इसका पता लगाना मुश्किल है। हमारी फोर्सेज हमेशा अलर्ट रहती हैं। यह पता था कि लगातार बारिश हो रही है, लेकिन इस तरह बादल फटने की घटना हुई, इसका अनुमान लगाना किसी के लिए कठिन होता है। डीआईजी बरिंदरजीत सिंह ने कहा कि ऑपरेशन में बारिश बड़ी चुनौती बन रही है। मौसम अनुकूल नहीं होने के कारण रेस्क्यू टीम को मुश्किल हो रही है। मौसम अनुकूल रहेगा तो ऑपरेशन में तेजी आएगी। हालांकि, आगे भी बारिश होने का अनुमान है, इससे एयर रेस्क्यू पर ब्रेक लग सकता है। बॉर्डर इलाकों की स्थिति पर बात करते हुए डीआईजी ने स्पष्ट किया कि भारत-चीन सीमा पर किसी भी प्रकार की अप्रिय घटना की कोई सूचना नहीं है। आपदा का प्रभाव मुख्य रूप से घाटी क्षेत्र में देखा गया है, जहां कुछ स्थानों पर सड़कों पर भूस्खलन और अवरोध की स्थिति बनी हुई है।