
12 जून 2025, अहमदाबाद
गैटविक जाने वाली एयर इंडिया की फ्लाइट गुरुवार दोपहर दुर्घटनाग्रस्त हो गई। हादसे में 242 लोगों में से कई की जान चली गई, जबकि कुछ घायल यात्रियों का अहमदाबाद के असारवा स्थित सिविल अस्पताल में इलाज चल रहा है। इन्हीं में से एक हैं 40 वर्षीय विश्वाश कुमार रमेश, जो इस भीषण विमान हादसे में चमत्कारी रूप से बच निकले।
ब्रिटिश नागरिक विश्वाश, जो कुछ दिन पहले ही भारत आए थे, अपने बड़े भाई अजय कुमार रमेश (45) के साथ लंदन लौट रहे थे। सिविल अस्पताल के जनरल वॉर्ड में भर्ती विश्वाश ने बताया,
“टेकऑफ के महज 30 सेकंड बाद एक जोरदार आवाज हुई और फिर विमान क्रैश कर गया। सब कुछ बहुत तेजी से हुआ। जब होश आया, तो चारों तरफ लाशें बिखरी थीं। डर के मारे मैं दौड़ने लगा। कोई मुझे पकड़कर एम्बुलेंस तक ले गया और फिर अस्पताल लाया गया।”
विश्वाश को सीने, आंखों और पैरों में गंभीर चोटें आई हैं। वह लंदन में बीते 20 साल से रह रहे हैं और उनकी पत्नी व बच्चा भी वहीं रहते हैं। उन्होंने बताया कि उनके भाई अजय विमान में दूसरी पंक्ति में बैठे थे।
“हम दोनों दीव घूमने गए थे। वह मेरे साथ ही लौट रहे थे, लेकिन अब उनका कुछ पता नहीं चल रहा है। कृपया मेरी मदद करें, मुझे मेरे भाई को ढूंढना है,” उन्होंने कहा।
घटना का विवरण
यह भयावह हादसा गुरुवार दोपहर 1:39 बजे हुआ, जब एयर इंडिया की बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर विमान ने उड़ान भरी। विमान में 230 यात्री और 12 क्रू मेंबर, कुल 242 लोग सवार थे। टेकऑफ के कुछ ही मिनटों बाद विमान क्रैश हो गया और उसमें आग लग गई।
एयर इंडिया की ओर से जारी जानकारी के अनुसार,
169 यात्री भारतीय नागरिक थे 53 ब्रिटिश नागरिक 7 पुर्तगाली नागरिक और 1 कनाडाई नागरिक सवार था।
पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी भी थे विमान में सवार
इस हादसे के बाद सिविल अस्पताल में कई यात्रियों के परिजन अपनों की तलाश में पहुंचे। इन्हीं में से एक थे गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी के परिवारजन। रुपाणी के पूर्व सहयोगी शैलेश मंडलिया भी अस्पताल पहुंचे और पूर्व मुख्यमंत्री की खोज में लगे हैं।
जांच जारी है
अब तक इस भीषण हादसे की वजहों का पता नहीं चल पाया है। एयर इंडिया और विमानन मंत्रालय ने जांच के आदेश दिए हैं। बचाव कार्य युद्धस्तर पर जारी है।